कम्प्यूटर मेमोरी क्या है ? what is memory in computer and its type!

कम्प्यूटर मेमोरी को दो प्रकार से परिभाषित कर सकते हैं एक तो टेकनिकल (Technical ) और दूसरा आम भासा में तो पहले हम टेक्नीकल परिभाषा आपको बताते हैं|
मेमोरी बहुत से रजिस्टरो का समूह (Group of Registers) है रजिस्टर क्या है तो रजिस्टर फ्लिप-फ्लॉप का एक समूह(Group of Flip-Flop) है अब् आप पूछेंगे की फ्लिप-फ्लॉप क्या है तो फ्लिप-फ्लॉप एक मेमोरी का सेल (कक्ष ) है जो एक बिट (bit ) को होने अंदर जमा मतलब की रख सकता है| एक बिट (bit ) मतलब 0 या 1
अब ये 0 या 1क्या है तो आपको बता दूँ ये digital code है जिसमे केवल दो हीं नंबर से पूरा काम हो जाता है यानि की कम्प्यूटर में कोई भी डाटा को सिर्फ 0 या 1 के रूप में स्टोर या रखा किया जाता है | आपका पूरा कम्प्यूटर सिर्फ 0 या 1 इन दोनों कोड पे हीं काम करता है| इसको Digital या Binary Code कहा जाता है |

अधिकतर सेमीकन्डक्टर मेमोरी में एक रजिस्टर या Memory location या Address location को 8 bits यानि की 1 Byte सन्देश को रखने या जमा करने के लिए डिजाईन किया जाता है |
इसी कारण मेमोरी को बाइट (BYTE ) के रूप में बताया या दर्शाया जाता है जैसे आप कभी मेमोरी खरीदने जायेंगे तो आपसे दुकानदार पूछेंगे की कितने kB(KILO BYTE), MB(MEGA BYTE), GB(GIGA BYTE), या TB(TERA BYTE) का लेंगे तो आपको जितने डाटा रखने होंगे उसके हिसाब से खरीद लेंगे |

मेमोरी दो प्रकार का होता है एक को प्रथमिक मेमोरी (Primary Memory)या अस्थायी मेमोरी या उडनशील मेमोरी तथा दूसरे को द्वितीयक मेमोरी (Secondary Memory)या स्थायी मेमोरी कहते हैं|
नोट :- यहाँ पर ROM और RAM दोनों हीं RANDOM मेमोरी हैं मतलब की दोनों में से जो डाटा को उपयोग करने के लिए RANDOM यानि कहीं से भी लिया जा सकता है अर्थात, जो डाटा को आपके सामने लाने में बराबर का समय लेता है|
PRIMARY MEMORY क्या होता है ?
ये भी एक प्रकार का रजिस्टर होता है जो डाटा को जमा करता है और प्राइमरी मेमोरी कंप्यूटर के साथ बना हुआ आता है इसे आप निकल के अलग नहीं कर सकते हैं |
RAM क्या होता है कंप्यूटर में
RAM का पूरा नाम RANDOM ACCESS MEMORY होता है इसे VOLATILE मेमोरी भी कहा जाता है क्यूंकि कम्प्यूटर बंद करने के तुरंत बाद हीं यह डाटा को जल्दी से खो डाटा है और जैसे हीं आप अगली बार कंप्यूटर को कहलू करेंगे तो आपको डाटा को RESTORE करना पड़ता है|
और यह जल्दी हीं काम करना शुरू कर देता है इसलिए इसको QUICK MEMORY भी कहा जाता है|
RAM कितने प्रकार के होते हैं ?
TYPES OF RAM
DRAM-DYNAMIC RAM अपने डाटा को अपने आप ही खो देता है कंप्यूटर चालू हो या बंद हो इसलिए इसको REFRESH करना पड़ता है डाटा को बनाए रखने के लिए और यह SRAM से SLOW यानि की स्पीड काम होती है इसकी और इसका साइज भी काम होता है |
SRAM -STATIC RAM यह अपने डाटा को कंप्यूटर चालू होने तक यानि की जबतक कंप्यूटर चालू रहता है तबतक नहीं खोता है STATIC RAM का स्पीड तेज होतास है DRAM से और यह महंगा होता है तथा SIZE बड़ा होता है | और यह ज्यादा बिजली का उपयोग करता है |
MAIN MEMORY क्या होती है कंप्यूटर में DYNAMIC RAM को हीं MAIN मेमोरी उपयोग किया जाता है |
CATCH MEMORY क्या होता है ?
कंप्यूटर में STATIC RAM को हीं CATCH मेमोरी है | CATCH MEMORY का उपयोग कंप्यूटर में जो डाटा जल्दी जल्दी प्रयोग होता रहता है या बार-बार प्रयोग होते रहता है उसको रखने के लिए प्रयोग होता है|
CATCH MEMORY कंप्यूटर का सबसे तेज और सबसे महंगा मेमोरी है|
SDRAM – Synchronous Dynamic RAM यह एक DRAM का भाग है जो कि एक CYCLE में एक हीं बार डाटा को read करता है
DDR क्या है ?
DDR का पूरा नाम DOUBLE DATA RATE है ओर DDR दो गुना तेज होता है SDRAM से DDR दो बार डाटा को READ करता है एक CYCLE या एक चक्र में |
ROM क्या होता है?-What is ROM in Computer
FIRMWARE किसे कहा जाता है -WHAT IS FIRMWARE?
FIRMWARE एक प्रकार का DEVICE है जो हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर से मिलकर बना होता है और इन दोनों में से डाटा को DELETE खत्म नहीं किया जा सकता है जैसे कि डिजिटल कैमरा, मोबाइल OPERATING SYSYTEM
BOOT ON क्या होता है-WHAT IS BOOT ON
ROM डाटा को कैसे रखता है-HOW ROM STORES THE DATA IN COMPUTER
ROM कितने प्रकार के होते हैं -TYPES OF ROM
स्थायी मेमोरी क्या है ?-SECONDARY MEMORY
SECONDARY MEMORY भी कई तरह के होते हैं जिनका CLASSIFICATION वर्गीकरण
ANALOG TYPE MEMORY, OPTICAL या डिजिटल तथा SEMICONDUCTOR ये दो प्रकार हैं SECONDARY MEMORY के |
ANALOG TYPE MEMORY –जैसे की FLOPY DISC

फ्लॉपी डिस्क के किनारे पर आयताकार फ्रेम तथा बिच में प्लेट की तरह गोल होता है जिसके ऊपर कवर लगया रहत है तथा फ्लॉपी डिस्क का क्षमता 1.5 MB होती है |
OPTICAL या DIGITAL – जैसे की CD, DVD, BLU-RAY DISC ये DIGITAL DISC के अंतर्गत आते हैं |
CD (COMPACT DISC )-

CD का आकर प्लेट की तरह CIRCULAR होती है तथा केंद्र पर एक छेद होती है और CD प्लास्टिक का बना होता है जिस पर अलुमिनियम का कवर लगया जाता है | CD capcity लगभग 700 MB होती है |
DVD

DVD भी CD की तरह हिन् होता है परन्तु इसकी क्षमता कद से ज्यादा होती है लगभग 4.7 GB
BLU RAY DISC

BLU RAY DISC की क्षमता लगभग 6 GB से 60GB होती है BLU RAY DISC भीCD ,DVD के सामान हीं काम करता है परन्तु BLU RAY DISC की स्टोरेज के लिए BLUE COLOR के लाइट का प्रयोग किआ जाता है|
SEMICONDUCTOR पे आधारित मेमोरी – जैसे की FLASH DRIVE, SSD SOLID STATE DRIVE,पेन ड्राइव PEN ड्राइव etc , जिनकी स्पीड ज्यादा होती है OPTICAL MEMORY से।

FLASH DRIVE में डाटा का read और write और मिटाना बहुत तेजी से होता है इसलिए इनको FLASH DRIVEकहते हैं | इसमें इलेक्ट्रान के रूप में डाटा का लेन तथा देन होता है |